तुमसे बिछड़कर ( song ) __विपिन दिलवरिया
तुमसे बिछड़कर ( song ) दिल कह रहा है तुमसे मिलकर जी ना सकूँगा मैं तुमसे बिछड़कर... तेरे साथ ज़िन्दगी अब जीना चाहतें है ज़ाम मोहब्बत का पीना चाहतें है किसी के लिये भी बदले नहीं हम रख दूँगा खुद को अब मैं बदलकर... दिल कह रहा है तुमसे मिलकर जी ना सकूँगा मैं तुमसे बिछड़कर... * * तडपायें मुझे वो सारी बातें हुई थी जो तुमसे जाने अनजानें... मिली थी जो तुमसे मेरी निगाहें भरने लगा हुँ अब तो मैं आहें... किसी के लिये भी रुकते नहीं हम चलने लगा हुँ अब मैं रुक रुककर... दिल कह रहा है तुमसे मिलकर जी ना सकूँगा मैं तुमसे बिछड़कर... * * ख्वाबों में जबसे आने लगे तुम होने लगे हम अब ख़ुद में गुम... छाई है मुझ पे ऐसी खुमारी रहने लगे हम अब गुम-सुम... किसी के लिये भी डरते नहीं हम जीने लगा हुँ अब मैं डर डरकर... दिल कह रहा है तुमसे मिलकर जी ना सकूँगा मैं तुमसे बिछड़कर... तेरे साथ ज़िन्दगी अब जीना चाहतें है ज़ाम मोहब्बत का पीना चाहतें है किसी के लिये भी बदले नहीं हम रख दूँगा खुद को अब मैं बदलकर... दिल कह रहा है तुमसे मिलकर जी ना सकूँगा मैं त