Part - 3 Thoughtfull Shayari Top - 10 by Vipin Dilwarya
Thoughtfull Shayari
(1)
किसे कह दूँ मैं अपना
मेरी खामोशी कोई नहीं सुनता
(2)
हाँ मैं पत्थर हूँ साहब
मैं रास्ते का वो पत्थर हूँ
जिसमे ठोकर खाकर लोग संभलते हैं
(3)
इस ज़मीं से बढ़कर कोई अपना नहीं
ज़िन्दगी को सवांर देती है
और मृत्यु को अपना लेती है
(4)
हँसता तो आज भी हूँ
साहब, बस मुस्कुराना भूल गये
(5)
बंदिशे ज़्यादा
बढ़ने लगी हैं ज़िन्दगी में....
लगता है...
जरूरतें शौर करने लगी हैं...!!
(6)
मैं दिया हूँ ,
अंधेरा... बहुत
संभालकर रखता हूँ अपने तले
फिर भी
अंधेरा मेरे खिलाफ़ है
जरुर...
हवाओं ने भड़काया होगा...!!
(7)
ख़ैरियत पूछने वाला हर
कोई हमदर्द नहीं होता साहब
कुछ लोग
हैसियत का अंदाज़ा लगाते है
(8)
लबों को खामोश करके
जो निगाहें चुरा लेते है
अक्सर उनके चेहरें बोल उठते है
(9)
ज़िन्दगी सवांरतें सवांरतें
पता नहीं कब ज़िन्दगी गुज़र गई
(10)
अश्क़ छूटे हैं मेरी साँस नहीं
तलाश छोड़ी है तेरी आस नहीं
By _ Vipin Dilwarya
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